पांढुर्णा :
ग्रामीण क्षेत्र से पांढुर्णा सिविल अस्पताल में सोनोग्राफी की जांच कराने पहुंच रही गर्भवती महिलाओं को काफी परेशानियों से झुझना पड़ रहा है। दरअसल सोनोग्राफी मशीन को संचालित करने वाले डॉक्टर चंद्रशेखर गजभिए को वेतन जारी नही होने से उन्होंने गर्भवती महिलाओ की सोनोग्राफी करना बंद कर दिया है। जिससे पिछले दो सप्ताह से गर्भवती महिलाओ की फजियत बढ़ गई। अब यह कहना गलत नही होंगा की पांढुर्णा सिविल अस्पताल में गर्भवती की स्वास्थ सेवा बदहाल होने लगी है।
बीएमओ के प्रयास से शुरू हुई थी मशीन :-
बीएमओ डॉक्टर दीपेंद्र सलामे के प्रयास से पांढुर्णा सिविल अस्पताल मे सोनोग्राफी सुविधा 10 नवंबर 2023 से शुरू की गई थी। जिसके तहत प्रति शुक्रवार को गर्भवती महिलाओ की सोनोग्राफी होती थी। लेकिन डॉक्टर को समय पर वेतन जारी नही होने से इस सुविधा को ग्रहण लग गया है।

65 हजार का अटका है वेतन :-
सोनोग्राफी मशीन को डॉक्टर चंद्रशेखर गजभिए ऑपरेट करते है। जो प्रति शुक्रवार को गर्भवती महिलाओ की सोनोग्राफी जांच करके उनको रिपोर्ट पेश करते है। लेकिन डॉक्टर को 65 हजार का वेतन नहीं मिलने से उन्होंने सोनोग्राफी करना बंद कर दिया। जिससे गर्भवती महिलाओ की परेशानी बढ़ गई।